होम मिनस्ट्री ने अपने एक नए नियम में कहा है कि आगर कोई ओसीआई कार्डधारक भारत में किसी तरह की रिसर्च, मशनरी या त’बलीग या फिर पत्रकारिता से जुड़ी कोई ग’तिविध शुरू करना चाहता है तो उसे इन सब के लिए खास अनुमति लेनी होगी। गृह मंत्रालय का कहना है कि अगर ऐसी कोई गतिविधि शुरू करनी है तो Fo reign Re  gional Registration O ffice (FRRO) से खास अनुमति लेनी पड़ेगी।

How govt got information of Tablighi Jamaat members? Here is Telangana Connection of this blow | EXCLUSIVE: मस्जिदों में छिपे तबलीगी जमात के लोगों का पता कैसे चला? 1 सुराग से उठाओवरसीज़ भारतीय अगर किसी फॉरेन मिशन के साथ काम करना या किसी ऐसे इलाके में जाना चाहते हैं जिसे सं,रक्षित रखा गया है तो ऐसी स्थिति में भी अनुमति की जरूरत पड़ेगी। इसके अलावा अगर अगर पते में कोई बदलाव है तो ओसीआई का’र्डहोल्डर्स को ये जानकारी FRRO को देनी होगी।
बता दें कि इन नए नियमों में एक चीज को लेकर सवाल उठाए जा रहे हैं कि सरकार इसमें त’बलीग यानी कि एक विशेष धा’र्मिक कार्यक्रम और पत्रकारिता का जिक्र एक लाइन में रखा है। पिछले साल को’रोना वा’यरस को फैलाने के लोकर त’बलीगी ज’मात के लोग चर्चा में आए थे। दिल्ली में मार्च में इनकी काफी निं’दा हुई थी.।
क्या है ओसीआई?
ओसीआई कार्डहोल्डर यानी भारतीय मू’ल के वो लोग जिनके पास किसी दूसरे देस की नागरिकता है लेकिन इस ओसीआई कार्ड के सहत उन्हें भारत में कुछ अ’धिकार प्राप्त होते हैं। बता दें कि यह एऩआरआई के अलग है। भारतीय संविधानों में दो देशों की नागगरिकता एक साथरखने का प्रावधान नहीं है। भारत का ओसीआई दर्जा ही इसके करीब है जैसा है।